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जेपी ग्रुप की इस कंपनी ने डिफॉल्ट कर दिया, एनसीएलटी आईसीआईसीआई बैंक

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वित्तीय संकट में जेपी ग्रुप (जेपी ग्रुप) की प्रमुख कंपनी जयलाइट एसोसिएट्स (जयप्रकाश एसोसिएट्स) ने कर्ज चुकाने में चूक की है। कंपनी कर्ज के मूल धन के साथ-साथ ब्याज पर भी चूक गई है। कंपनी को ये पैसा मार्च में वापस चुकाना पड़ा, लेकिन वह ऐसा करने में असफल रही।

31 मार्च तक भुगतान करना था

जयप्रकाश एसोसिएट्स लिमिटेड ने खुद इस बारे में शेयर कर्ताओं को जानकारी दी है। कंपनी ने बताया है कि वह 508 मिलियन डॉलर यानी करीब 4,161 करोड़ रुपये का भुगतान करने में विफल रही है। कंपनी को 31 मार्च तक 1,653 करोड़ रुपये की मूल राशि और 2,508 करोड़ रुपये का बजट लौटाया गया था। वह यही भुगतान करने में असफल रहा है।

कंपनी के ऊपर कुल इतना कर्ज

जयप्रकाश एसोसिएट्स लिमिटेड (जेएएल) ने बताया कि अभी उसका ऊपर का कुल मिलाकर कुल 29,396 करोड़ रुपये का झटका है। कंपनी को साल 2037 तक इतनी रकम का भुगतान करना है। इनमें से 4,161 करोड़ रुपये 31 मार्च, 2023 तक लौटाए गए थे, लेकिन कंपनी ऐसा नहीं कर पाई। कंपनी ने अलग-अलग बैंकों से कर्ज लिया था। उसके कर्ज में फंड आधारित वर्किंग कैपिटल, नॉन फंड आधारित वर्किंग कैपिटल, टर्म लोन और फॉरेन देन सी स्वीबल बॉन्ड शामिल हैं।

इस तरह से कम एम्पायर लोन

जयप्रकाश एसोसिएट्स ने कहा कि आने वाले समय में उसके कुल 29,296 करोड़ रुपये के कर्ज में से 18,051 करोड़ रुपये कम हो जाएंगे। कंपनी इतनी रकम का कर्ज प्रस्तावित करने वाली विशेष कंपनी पर कब्जा कर लेती है। यह सभी जरूरी मंजूरी मिल चुकी है, सिर्फ राष्ट्रीय कंपनी विधि न्यायाधिकरण यानी एनसीएलटी से बाकी है।

कंपनी को पूरा कर्ज चुकाने की गारंटी

कंपनी ने कहा, कुल मिलाकर पूरा कर्ज पुनर्गठन के तहत है। कर्ज में कमी के लिए ठोस उपाय किए जा रहे हैं। किसी व्यवसाय के प्रस्तावित वियोजन और ऋण संगठन योजना के लागू होने के बाद ऋण लगभग शून्य हो जाएगा।

एनसीएलटी में जा चुका है मामला

कंपनी ने यह भी कहा कि आईसीआईसीआई बैंक ने दीवाला एवं ऋण शोधन अक्षमता संहिता की धारा सात के तहत भारतीय रिजर्व बैंक के निर्देश के आधार पर एनसीएलटी इलाहाबाद से संपर्क किया है। हालांकि, कंपनी ने इस पर विरोध जताया है। जयप्रकाश एसोसिएट्स ने कहा, मामला अभी एनसीएलटी में फैला हुआ है। इस पर रियल एस्टेट कारोबार विशेष कंपनी को आवंटित करने की योजना के साथ ही निर्णय होने की उम्मीद है।

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